Bihar High Court Bench | पटना में हाई कोर्ट बेंच की मांग: विपक्ष ने सरकार को चेतावनी!
नई दिल्ली: संसद के मानसून सत्र के दौरान बिहार में न्यायिक व्यवस्था को लेकर गर्मा-गर्म बहस छिड़ गई है। Nitish कुमार के खिलाफ विपक्षी नेता Misa और Pappu यादव ने तीखे हमले किए हैं। इन नेताओं का कहना है कि बिहार में न्यायपालिका की स्थिति सुधारने के लिए तत्काल कदम उठाए जाएं, अन्यथा उनकी पार्टी सरकार से अपना समर्थन वापस ले लेगी।
हाई कोर्ट बेंच की स्थापना पर जोर | Bihar High Court Bench
Misa और Pappu यादव ने यह मुद्दा उठाया कि बिहार में उच्च न्यायालय की बेंच की स्थापना की तत्काल आवश्यकता है।
- विपक्ष का आरोप:
- बिहार में पटना में हाई कोर्ट के अतिरिक्त बेंच की स्थापना नहीं की जा रही।
- भागलपुर और पूर्णिया जैसे इलाकों में न्यायिक सुविधाओं की कमी है, जहां के लोग लंबी दूरी की वजह से न्याय प्राप्त करने में कठिनाई का सामना कर रहे हैं।
Misa ने कहा: | Bihar High Court Bench
“हमने माननीय मुख्यमंत्री से आग्रह किया है कि वे हाई कोर्ट की बेंच के लिए प्रस्ताव भेजें। यदि ऐसा प्रस्ताव तैयार नहीं किया जाता है, तो हमारी पार्टी सरकार से अपना समर्थन वापस ले लेगी।”
Pappu यादव ने जोड़ा: | Bihar High Court Bench
“बिहार की जनता को धोखा देने का काम न करें। यदि बिहार में न्यायिक व्यवस्था को सुधारने के लिए कोई कदम नहीं उठाए जाते, तो हमारी पार्टी समर्थन वापस लेने पर विचार करेगी।”
वर्तमान स्थिति और प्रस्ताव | Bihar High Court Bench
वर्तमान में बिहार में एक ही उच्च न्यायालय है, जो पटना में स्थित है। इसके मुकाबले, महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश जैसे राज्यों में कई बेंच हैं, जो बड़ी जनसंख्या वाले राज्यों की तुलना में बेहतर न्यायिक सेवाएं प्रदान करती हैं।
वर्तमान स्थिति पर एक नज़र: | Bihar High Court Bench
राज्य | मुख्य हाई कोर्ट | बेंचों की संख्या |
---|---|---|
बिहार | पटना | 1 |
महाराष्ट्र | मुंबई | 3 |
मध्य प्रदेश | जबलपुर | 3 |
उत्तर प्रदेश | इलाहाबाद | 4 |
राजेश रंजन ने तर्क किया: | Bihar High Court Bench
“नेशनल जूडिशियस डाटा के मुताबिक, बिहार में न्यायिक कामकाज बहुत ही अधिक है। पटना हाई कोर्ट में 37,000 केस पेंडिंग हैं, और यहां वकीलों के लिए भी जगह की कमी है।”
सरकार की ओर से जवाब | Bihar High Court Bench
सरकारी प्रतिनिधि ने इस मुद्दे पर जवाब देते हुए कहा कि हाई कोर्ट बेंच की स्थापना की प्रक्रिया सुप्रीम कोर्ट और जसवंत सिंह कमीशन की सिफारिशों के अनुसार होती है।
- सरकारी स्पष्टीकरण:
- बेंच की स्थापना के लिए राज्य सरकार को प्रस्ताव तैयार करना होता है।
- प्रस्ताव के लिए आवश्यक इन्फ्रास्ट्रक्चर और सुविधाएं राज्य सरकार द्वारा प्रदान की जाती हैं।
- फिलहाल, भागलपुर या पूर्णिया में बेंच स्थापित करने का कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है।
विपक्ष की मांग | Bihar High Court Bench
विपक्षी नेताओं का कहना है कि बिहार के विभिन्न हिस्सों में बेंचों की स्थापना से स्थानीय लोगों को राहत मिलेगी और न्याय के लिए उन्हें दूर-दराज नहीं जाना पड़ेगा।
Misa और Pappu यादव ने निष्कर्ष निकाला: | Bihar High Court Bench
“हमारी मांग है कि बिहार में जल्द से जल्द उच्च न्यायालय की बेंच स्थापित की जाए, ताकि न्यायिक सेवाएं लोगों तक सुलभ हो सकें। अगर हमारी मांगें नहीं मानी जातीं, तो हम सरकार से समर्थन वापस लेने पर मजबूर होंगे।”
इस मुद्दे पर चर्चा अभी भी जारी है और यह देखना बाकी है कि सरकार इस महत्वपूर्ण मुद्दे पर क्या कदम उठाती है। बिहार की जनता और विपक्षी दलों की उम्मीदें सरकार की प्रतिक्रियाओं पर टिकी हैं।
Sitesh Choudhary
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